With the help of internet collect the pictures of quit india movement of 1942
Who among the following was shot dead while hoisting national flag at gohpur police station
Quit india movement essay writing.
मातंगिनी हाजरा
मातंगिनी हाजरा (19 अक्टूबर 1870 [1]) भारत की क्रान्तिकारी थीं। उन्हें 'गाँधी बुढ़ी' के नाम से जाना जाता था।[2]
मातंगिनी हाजरा का जन्म पश्चिम बंगाल मिदनापुर जिले के होगला ग्राम में एक अत्यन्त निर्धन परिवार में हुआ था। गरीबी के कारण 12 वर्ष की अवस्था में ही उनका विवाह ग्राम अलीनान के 62वर्षीय विधुर त्रिलोचन हाजरा से कर दिया गया। इस पर भी दुर्भाग्य उनके पीछे पड़ा रहा। छह वर्ष बाद वह निःसन्तान ही विधवा हो गयीं। पति की पहली पत्नी से उत्पन्न पुत्र उससे बहुत घृणा करता था। अतः मातंगिनी एक अलग झोपड़ी में रहकर मजदूरी से जीवनयापन करने लगीं। गाँव वालों के दुःख-सुख में सदा सहभागी रहने के कारण वे पूरे गाँव में माँ के समान पूज्य हो गयीं।
1932 में गान्धी जी के नेतृत्व में देश भर में स्वाधीनता आन्दोलन चला। वन्देमातरम् का घोष करते हुए जुलूस प्रतिदिन निकलते थे। जब ऐसा एक जुलूस मातंगिनी के घर के पास से निकला, तो उसने बंगाली परम्परा के अनुसार शंख ध्वनि से उसका स्वागत किया और जुलूस के साथ चल दी। तामलुक के कृष्णगंज बाजार में पहुँचकर एक सभा हुई। वहाँ मातंगिनी ने